Zika Virus: जीका वायरस का प्रकोट भारत में जारी है. बहुत तेजी से जीका वायरस देश में फैल रहा है. जीका वायरस मच्छर जनित फ्लेविवायरस है जो मुख्य रूप से एडीज मच्छरों, खासकर से एडीज एजिप्टी और एडीज एल्बोपिक्टस के काटने से फैल रहा है. पहली बार जीका वायरस का पहचान 1947 में युगांडा में किया गया था. तभी से लेकर यह वायरस दुनियाभर में तेजी से फैल रहा है. जीका वायरस का कहर अफ्रीका, दक्षिण पूर्व एशिया, प्रशांत द्वीप और अमेरिका में सबसे अधिक देखने को मिलता है. इस बीच भारत के पुणे में जीका का एक मामला सामने आया. जिसमें 46 वर्षीय डॉक्टर और उनकी बेटी जीका वायरस के चपेट में आ गए हैं. पीएमसी के स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि डॉक्टर और उसकी 15 साल की बेटी का टेस्ट पॉजिटिव आया है. चलिए जानते हैं क्या है जीका वायरस, जीका वायरस के लक्षण और बचाव…
क्या है जीका वायरस?
जीका वायरस एक प्रकार का वायरस है जो मुख्य रूप से एडीज मच्छरों, विशेषकर एडीज एजिप्टी और एडीस एल्बोपिक्टस के काटने से फैलता है. जीका वायरस की खोज सबसे पहले 1947 में युगांडा के ज़िका जंगल में हुई थी.
किस मच्छर के काटने से जीका वायरस होता है?
एडीज एजिप्टी मच्छर द्वारा फैलता है , जो डेंगू बुखार और पीला बुखार भी फैलाता है.
जीका वायरस के लक्षण क्या है?
जीका वायरस होने पर सबसे पहले तेज बुखार, सिरमें दर्द, पूरे बदन में दर्द, थकान, शरीर पर चकत्ते होना, आंखों में दर्द, प्लेटलेट्स कम होना, पेट में दर्द, उल्टी और मतली होगा आदि है.
जीका वायरस से बचाव कैसे करें?
मच्छरदानी, मच्छर भगाने वाले क्रीम और पूरी आस्तीन के कपड़े पहनने, जीका वायरस से प्रभावित क्षेत्र पर जाने से बचें, घर के अंदर खिड़कियों में जाली लगाएं. प्रेग्नेंट हैं तो जीका वायरस के प्रकोप वाली जगहों पर जाने से बचें.
जीका वायरस का उपचार?
जीका वायरस का कोई विशिष्ट उपचार नहीं है. इसका इलाज आमतौर पर लक्षणों को कम करने के लिए किया जाता है. जीवा वायरस से पीड़ित लोग आराम करें, पर्याप्त मात्रा में तरल पदार्थ पिएं, दर्द और बुखार को कम करने के लिए पेरासिटामोल जैसी दवाओं का उपयोग करें. यदि आपको लगता है कि आप जीका वायरस से संक्रमित हो चुके हैं तो तुंरत डॉक्टर से परामर्श लें.