Thursday, October 17, 2024
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बच्‍चों की मेंटल हेल्‍थ पर भी पड़ता है रंगों का असर! ज्‍योत‍िष शास्‍त्र कैसे करता है मदद, एक्सपर्ट से समझें

Color According to Planet: बच्‍चों को लेकर हर परिवार में कुछ ना कुछ समस्‍या बनी रहती है, कभी बच्‍चे को बार-बार चोट लगती है तो कभी बच्‍चे का मन पढ़ाई में नहीं लग पाता. बच्चों के मानसिक और शारीरिक सभी प्रकार का विकास ग्रहों के आधार पर ही होता है, जब बच्चा छोटा होता है तब वह कुंडली के उपाय आदि नहीं कर सकता है और उसकी कुंडली में यदि कोई ग्रह कमजोर है तो उस ग्रह से संबंधित वातावरण तैयार करके हम उसको मजबूत कर सकते हैं.ज्‍योतिष में कुछ छोटे-छोटे उपायों के जरिए इन समस्‍याओं से राहत पाई जा सकती है.

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ये करें उपाय :
1. यदि बच्चे को बार-बार चोट लगते रहने की समस्या रहती है तो प्रतिदिन उस हनुमान चालीसा का पाठ करके सुनाएं और बच्चे को भी “हनुमान चालीसा” का पाठ करना सिखाएं.

2. यदि बच्चे को घबराहट, एंग्जायटी, इरिटेशन और जल्दी तनाव होने की समस्या हो तो बच्चे को काले और गहरे नीले रंग के कपड़े न पहनाएं या इन रंगों का बहुत कम प्रयोग कराएं.

3. यदि बच्चा बहुत जिद्दी और गुस्सा करने वाला हो तो लाल और नारंगी रंग (ऑरेंज) के कपड़ों का प्रयोग न कराएं या इन रंगों का बहुत कम प्रयोग कराएं.

4. घर में बच्चे के पढ़ने की टेबल इस तरह रखें कि पढ़ते समय बच्चे का मुख पूर्व या उत्तर दिशा में रहे इससे बच्चे की एकाग्रता अच्छी रहती है.

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5. यदि आपका बच्चा अपने मन की बातें आपको नहीं बता पाता या हमेशा झिझकता है तो ऐसा कुंडली में बुध कमजोर होने के कारण होता है, इस स्‍थिति में प्रत्येक बुधवार को बच्चे के हाथ से स्पर्श कराकर हरा चारा गाय को खिलाना से बच्चे में सकारात्मक बदलाव होगा और उसको अधिकतम हरे रंग के कपड़े पहनायें.

6. प्रतिदिन सूर्योदय के समय बच्चों को सूर्य दर्शन करने की आदत डालें, प्रतिदिन सूर्य को जल अर्पित कराएं इससे बच्चे की नेत्र ज्योति बढ़ती है एवम आंखों की समस्याओं से बचाव होता है साथ ही अच्छे की रोग प्रतिरोधक क्षमता और आत्मविश्वाश बढ़ता है.

7. बच्चों को पेड़-पौधों के संपर्क में रखना और उनमें पानी देने की आदत डालना उनके स्नायुतंत्र के विकास, मन-मस्तिष्क की एकाग्रता के लिए बहुत अच्छा होता है. इससे इससे बच्चे के बुध (बुद्धि) और चन्द्रमा (एकाग्रता) दोनों मजबूत होते हैं.

8. बच्चों के स्टडी रूम में हल्के हरे रंग का प्रयोग करना चाहिए यह मस्तिष्क की एकाग्रता के लिए अच्छा होता है.

9. यदि बच्चे को भूख कम लगने की समस्या हो तो यह कुंडली में कमजोर या पीड़ित बृहस्पति के कारण होता है इसके लिए प्रत्येक बृहस्पतिवार बेसन के लड्डू बच्चे के हाथ से स्पर्श कराकर गाय को खिलाएं और पीले रंग के कपड़े अधिक पहनायें.

10. जिन बच्चों की कुंडली में बृहस्पति एवं चन्द्रमा स्वतंत्र रूप से एक-साथ हो तो ऐसे बच्चों का अपनी माँ से बहुत विशेष लगाव होता है.

Tags: Astrology, Baby Care, Dharma Aastha


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