Ashadha Amavasya 2024 Upay: आषाढ़ अमावस्या, जिसे हलहारिणी अमावस्या के नाम से भी जाना जाता है, हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण पर्व है. यह प्रत्येक वर्ष आषाढ़ मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है. 2024 में, आषाढ़ अमावस्या 5 जुलाई को पड़ रही है. इस पवित्र अवसर पर, भगवान विष्णु और पितरों की पूजा करने का विधान है. पितृ दोष से मुक्ति पाने के लिए तर्पण और श्राद्ध भी किया जाता है. आइए जानते हैं कुछ उपाय जो आप आषाढ़ अमावस्या पर कर सकते हैं
पितृ तर्पण
पितरों की तृप्ति के लिए पितृ तर्पण करना अत्यंत महत्वपूर्ण है. तर्पण के लिए जौ, काले तिल, जल, कुश, अक्षत, फूल आदि सामग्री का उपयोग करें. सूर्योदय से पहले किसी पवित्र नदी या घर पर ही तर्पण करें. पितरों का नाम लेकर जल अर्पित करें और उनके प्रति कृतज्ञता व्यक्त करें.
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श्राद्ध
पितृ पक्ष में श्राद्ध करना पितरों के प्रति कर्तव्य है. श्राद्ध के लिए ब्राह्मणों को भोजन कराएं और दक्षिणा दें. पितरों के नाम पर दान-पुण्य करें. श्राद्ध के दौरान मांस, मदिरा और तामसिक भोजन का सेवन न करें.
दान
आषाढ़ अमावस्या के दिन दान-पुण्य करना अत्यंत शुभ माना जाता है. आप गरीबों, असहायों और जरूरतमंदों को भोजन, वस्त्र, दान कर सकते हैं. दान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है और पितृ प्रसन्न होते हैं.
व्रत
आषाढ़ अमावस्या के दिन व्रत रखना भी शुभ माना जाता है. आप निर्जला व्रत रख सकते हैं या फलाहार कर सकते हैं. व्रत के दौरान भगवान विष्णु और पितरों की पूजा करें.
दीपदान
आषाढ़ अमावस्या के दिन दीपदान करना अत्यंत शुभ माना जाता है. आप घर, मंदिर या नदी के किनारे दीप जला सकते हैं. दीपदान करने से नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और सकारात्मकता का संचार होता है.
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ज्योतिषाचार्य संजीत कुमार मिश्रा
ज्योतिष वास्तु एवं रत्न विशेषज्ञ
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